झटकों से निपटने की शक्ति बढ़ाने को संयुक्त कदम उठाने की जरूरत: सीतारमन
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने बुधवार को विश्व के प्रमुख आर्थिक देशों से अपील की कि इस समय ना केवल महामारी से प्रभावित अर्थव्यवस्था को उबारने के प्रयासों में बल्कि भविष्य के आर्थिक आघातों का सामना करने की शक्ति बढ़ाने के लिए भी संयुक्त कदम उठाने की आवश्यकता है। वह वाशिंगटन में अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष द्वारा जी20 की उभरती अर्थव्यवस्थाओं की एक बैठक को संबोधित कर रही थीं।
जी20 के सदस्य देशों के वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंकों के प्रमुखों की बैठक के अवसर पर अलग से हुयी इस बैठक में वित्त मंत्री सीतारमन ने आर्थिक परिदृश्य और उभरते देशों के सामने निकट भविष्य में आर्थिक चुनौतियों को लेकर अपने विचार रखें। उन्होंने इसी संदर्भ में भोजन और ऊर्जा की सुरक्षा तथा वैश्विक स्तर पर बढ़ रहे वित्तीय दबावों का उल्लेख किया।
वित्त मंत्री ने पर्यावरण की दृष्टि से स्वस्थ और वित्तीय रूप से व्यवहारिक वैकल्पिक ऊर्जा स्त्रोतों के विकास की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि इस संबंध में अंतरराष्ट्रीय सौर ऊर्जा गठबंधन (आईएसए) एक कारगर मंच हो सकता है।
भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास और मुख्य आर्थिक सलाहकार (सीईए) वी अनंत नागेश्वरन इस बैठक में मौजूद रहें।
श्रीमती सीतारमन इस समय अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ)-विश्व बैंक की ग्रीष्मकालिक बैठकों और जी20 समूह के वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंकों के प्रमुखों के सम्मेलन में भाग लेने के लिए वाशिंगटन में हैं।
वित्त मंत्री अपनी यात्रा में इंडोनेशिया, दक्षिण कोरिया, श्रीलंका और दक्षिण अफ्रीका समेत विभिन्न देशों के वित्त मंत्रियों के साथ द्विपक्षीय बैठकें भी की हैं।
श्रीमती सीतारमन वाशिंगटन में कॉरपोरेट जगत के कुछ प्रतिनिधियों के साथ भी बैठक करने वाली हैं। इसमें सेमीकंडक्टर, ऊर्जा और भारत के महत्व के कुछ अन्य क्षेत्रों की कंपनियों के मुख्य अधिशासी अधिकारी शामिल होंगे।