कोरोना महामारी: वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा- पहले से बिल्कुल अलग होगा इस बार का केंद्रीय बजट
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पहले से बिल्कुल अलग केंद्रीय बजट का वादा किया है। उन्होंने कहा कि सरकार महामारी से प्रभावित अर्थव्यवस्था को संभालना और विकास को बढ़ावा देना चाहती है। एक ओर जहां स्वास्थ्य, मेडिकल रिसर्च एंड डेवलपमेंट में निवेश तथा टेलीमेडिसिन में कौशल विकास अहम हैं। वहीं, रोजगार के मोर्चे पर चुनौतियों को भी नई दृष्टि से देखना होगा। वोकेशनल ट्रेनिंग और स्किल डेवलपमेंट पर नए नजरिये की जरूरत होगी।
भारत के 100 साल के इतिहास में कभी महामारी के बाद बजट नहीं बना
वित्त मंत्री सीतारमण ने सीआइआइ पार्टनरशिप समिट 2020 को संबोधित करते हुए कहा, ‘आप लोग मुझे इनपुट भेजें। इससे हम ऐसा बजट देखेंगे, जैसा एक तरह से पहले कभी नहीं देखा गया होगा। भारत के 100 साल के इतिहास में कभी महामारी के बाद बजट नहीं बना है। सबसे अलग बजट तब तक मुमकिन नहीं, जब तक मुझे आपके इनपुट और आपकी मांगें नहीं मिलती हैं। इससे यह साफ होगा कि चुनौती के दौर में आपको किसने संभाला है। यह समझे बिना मेरे लिए पहले से बिल्कुल अलग बजट बनाना संभव नहीं होगा।’
2021-22 का बजट संसद में पहली फरवरी, 2021 को पेश किया जाएगा
2021-22 का बजट संसद में पहली फरवरी, 2021 को पेश किया जाना है। वित्त मंत्री ने कहा कि विकास के रास्ते पर बढ़ने के लिए उन क्षेत्रों को समर्थन की जरूरत है, जिन पर महामारी का बुरा असर पड़ा है। इसके साथ उन क्षेत्रों को भी बढ़ावा देना होगा, जो अब नई तरह की मांग का केंद्र बनते हुए विकास का नया इंजन बनने जा रहे हैं।
वित्त मंत्री ने कहा- वैश्विक अर्थव्यवस्था के सुधार में भारत का रहेगा बड़ा योगदान
उन्होंने कहा कि आकार, आबादी और क्षमता को देखते हुए भारत के पास बेहतर विकास की संभावना है। इसमें कोई संदेह नहीं कि कुछ अन्य देशों के साथ भारत दुनिया में विकास का इंजन बनकर सामने आएगा। वैश्विक अर्थव्यवस्था के सुधार में भारत का बड़ा योगदान रहेगा।
सीतारमण ने कहा- अस्पतालों के संचालन के लिए क्षमता बढ़ाने पर भी जोर देना होगा
सीतारमण ने कहा कि इन्फ्रास्ट्रक्चर को ज्यादा फंड उपलब्ध कराने और इमारतों व अस्पतालों के लिए निजी पार्टनरशिप के साथ ही अस्पतालों के संचालन के लिए क्षमता बढ़ाने पर भी जोर देना होगा।