आप भी जानें आखिर कौन होगा अमेरिका का सेकंड जेंटलमैन, पहली बार हो रही है इस पर चर्चा
अमेरिका में राष्ट्रपति की पत्नी को फर्स्ट लेडी कहा जाता है, इस बात को हम भलीभांति जानते हैं। लेकिन सेकंड जेंटलमेन या सेकंड लेडी के बारे में अब तक बहुत कुछ खास सामने नहीं आया है। इसको लेकर बहुत से लोगों को मुमकिन है कि जानकारी भी न हो। यदि आप भी ऐसे ही लोगों में शामिल हैं तो आज हम आपको इसकी जानकारी देंगे। दरअसल, अमेरिका में उप-राष्ट्रपति को सेकंड जेंटलमेन और उनकी पत्नी को सेकंड लेडी कहा जाता रहा है। लेकिन क्योंकि अब तक अमेरिका में कोई भी महिला उपराष्ट्रपति नहीं बनी थी और अब ये पहली बार होगा कि कमला हैरिस इस पद पर काबिज होंगी तो उनके पति सेकेंड जेंटलमेन कहा जाएगा। वहीं कमला उप-राष्ट्रपति के अलावा सेकेंड लेडी की भी भूमिका निभाएंगी।
इस चुनाव से पहले तक अमेरिका की नव-निर्वाचित उप-राष्ट्रपति कमला हैरिस के पति डग एमहॉफ राजनीति से काफी दूर रहते थे। लेकिन इस बार के चुनाव में उन्होंने हैरिस के साथ मिलकर काम किया। एमहॉफ एक निजी लॉ फर्म में काम करते हैं। समाचार एजेंसी एपी की मानें तो कमला के उप-राष्ट्रपति बनने की सूरत में एमहॉफ अपना काम छोड़कर लेकर उनका हाथ बंटाएंगे। वो आजकल अमेरिका समेत पूरी दुनिया में अपनी सेकंड जेंटलमैन की भूमिका को लेकर सुर्खियां बटोर रहे हैं। हैरिस से उनकी मुलाकात वर्ष 2013 में हुई थी, जिसके बाद उन्होंने शादी कर ली थी। हैरिस की जहां ये पहली शादी थी वहीं एमहॉफ की ये दूसरी शादी थी। उनकी पहली शादी से दो बच्चे हैं जो हैरिस को छोटी मां बुलाते हैं।
एपी की मानें तो एमहॉफ की कंपनी डीएलए पाइपर अमेरिका के अलग-अलग डिपार्टमेंट में लॉबी बनाने का काम करती है। अगस्त में जब अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव कराने का एलान किया गया था तभी एमहॉफ ने अपने काम से छुट्टी ले ली थी और पूरी तरह से हैरिस की चुनावी प्रक्रिया में जुड़ गए थे। हैरिस के चुनाव प्रचार अभियान के दौरान एमहॉफ को लोगों ने पर्दे के पीछे मौजूद एक मददगार पति के तौर पर देखा। 56 वर्षीय एमहॉफ अब पूरी तरह से हैरिस का साथ देना चाहते हैं। अक्टूबर में एमहॉफ ने एक इंटरव्यू में कहा था कि वो चाहते हैं कि अधिक से अधिक महिलाएं ऑफिस आएं और उनके पति इसमें उनका सहयोग करें। वहीं दूसरी तरफ नवनिर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन की पत्नी अपनी नई भूमिका में भी एक कॉलेज में बतौर शिक्षक अपनी नौकरी को जारी रखना चाहती हैं। आपको यहां पर ये भी बता दें कि अमेरिकी इतिहास में ये पहला मौका है जब राष्ट्रपति या उप राष्ट्रपति के पार्टनर के रूप में कोई यहूदी समुदाय से ताल्लुक रखता है। यहां पर ये भी जानना जरूरी होगा कि हैरिस को अमेरिका में बसे यहूदियों को भरपूर सहयोग मिला है।