अक्टूबर में बढ़ सकते हैं CNG और रसोई गैस के दाम: ICICI Securities
ICICI Securities की एक रिपोर्ट मुताबिक दिल्ली और मुंबई जैसे शहरों में CNG और पाइप से रसोई गैस की कीमतों में अगले महीने 10-11 फीसदी की बढ़ोतरी हो सकती है, क्योंकि सरकार द्वारा तय की गई गैस की कीमत में लगभग 76 फीसदी की बढ़ोतरी हो सकती है। सरकार, गैस-सरप्लस देशों में जारी दरों के हिसाब से, हर छह महीने में नामांकन के आधार पर उन्हें दिए गए क्षेत्रों से राज्य के स्वामित्व वाली ऑयल एंड नेचुरल गैस कॉर्प (ONGC) जैसी फर्मों द्वारा उत्पादित प्राकृतिक गैस की कीमत तय करती है। सरकार द्वारा अगली समीक्षा 1 अक्टूबर को होगी।
ब्रोकरेज हाउस ने कहा कि कीमत, जिसे एपीएम या प्रशासित दर कहा जाता है, 1 अक्टूबर, 2021 से 31 मार्च, 2022 की अवधि के लिए 3.15 अमरीकी डालर प्रति मिलियन ब्रिटिश थर्मल यूनिट (एमएमबीटीयू) हो जाएगी, जो मौजूदा 1.79 डॉलर है। रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड के केजी-डी6 और बीपी पीएलसी जैसे गहरे पानी के क्षेत्रों से गैस की दर अगले महीने बढ़कर 7.4 डॉलर प्रति एमएमबीटीयू हो जाएगी।
प्राकृतिक गैस वह कच्चा माल है जिसे ईंधन के रूप में ऑटोमोबाइल में उपयोग के लिए कंप्रेस्ड नेचुरल गैस (सीएनजी) में परिवर्तित किया जाता है या खाना पकाने के प्रयोजनों के लिए घरेलू रसोई में पाइप किया जाता है।
APM गैस की कीमतों में अपेक्षित उछाल सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन (CGD) के लिए एक चुनौती पेश करेगा। जिसका कारण यह है की सीएनजी और आवासीय पाइप प्राकृतिक गैस के लिए उनकी गैस लागत में वृद्धि होगी। एपीएम गैस की कीमतों में वृद्धि का मतलब होगा कि अगले एक साल में आईजीएल (जो राष्ट्रीय राजधानी और आसपास के शहरों में सीएनजी की खुदरा बिक्री करता है) और एमजीएल (जो मुंबई में खुदरा सीएनजी की खुदरा बिक्री करता है) द्वारा कीमतों में भारी बढ़ोतरी की जाएगी।
आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज ने एक रिपोर्ट में कहा है कि सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूटर्स (सीजीडी) को अक्टूबर में कीमतों में 10-11 फीसदी की बढ़ोतरी करनी होगी। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में चलन के अनुसार, अप्रैल 2022 से सितंबर 2022 में एपीएम गैस की कीमत 5.93 अमेरिकी डॉलर प्रति एमएमबीटीयू और अक्टूबर 2022 से मार्च 2023 के दौरान 7.65 अमेरिकी डॉलर होने की संभावना है। जिसका मतलब यह है कि अप्रैल 2022 में सीएनजी और पाइप्ड प्राकृतिक गैस की कीमतों में 22-23 फीसदी और अक्टूबर 2022 में 11-12 फीसदी की बढ़ोतरी होगी।