कार के साइड मिरर को लेकर आप भी करते हैं ये गलती तो तुरंत सुधारें, हर साल होती हैं हजारों दुर्घटनाएं



कार या किस भी गाड़ी चलाते समय दुर्घटना से बचना है तो सावधानी बरतनी बहुत जरूरी है। इसके लिए हम बहुत से नियमों का पालन भी करते हैं। पर क्या आपको पता है कि एक ऐसी भी गलती है, जिसे अक्सर लोग जाने-अनजाने में दोहराते हैं और इसका खामियाजा गंभीर वाहन दुर्घटना से होता है। हम बात कर रहे हैं कारों में दिए जाने वाले साइड मिरर की, जिसे चालक अक्सर गलत एंगल में मोड देते हैं या बंद कर देते हैं। ऐसा करना बहुत खतरनाक है और इससे दुर्घटना की आशंका बहुत बढ़ जाती है।
साइड मिरर का काम सिर्फ पीछे से आने वाली गाड़ियों को देखना में मदद करना ही नहीं है, बल्कि यह कई और तरह के सुरक्षा में भी मदद करती है। इसलिए आज हम आपको कार साइड मिरर रखने का सही तरीका और इसके इस्तेमाल के बारे में बताने जा रहे हैं।
साइड मिरर के फायदें
किसी भी गाड़ी में ड्राइवर सीट और फ्रंट सीट के बाहर छोटे शीशे दिए होते हैं, जिन्हे साइड मिरर कहा जाता है। यह बाकी शीशों की तुलना में थोड़े अलग से होते हैं, क्योंकि इसमें देखने पर पीछे से दूर से आती गाड़ी भी पास नजर आती है। इन मिरर को इसलिए दिया जाता है, ताकि चालक को पीछे से आने वाली सभी गाड़ियों के बारे में जानकारी हो। साथ ही, यह ओवरटेक करते समय आपके आगे चल रही गाड़ी को आपकी पोजीशन बताने में भी मदद करती है। इसके आलवा, कार के केबिन में एक बैक मिरर भी दिया गया होता है। इन तीनों मिरर के इस्तेमाल से ड्राइवर को गाड़ियों के सही स्थिति का पता लग पाता है।
गलत एंगल में साइड मिरर होने के नुकसान
जैसा कि हम जान गए कि साइड मिरर का काम गाड़ियों की सही स्थिति के बारे में ड्राइवर को जानकारी देना है, तो इसका सही एंगल में होना भी बहुत जरूरी है। अगर यह सही तरीके से नहीं रखा गया तो पीछे आने वाली किसी भी गाड़ी के बारे में पता लगा पाना मुश्किल हो जाता है और इससे दुर्घटना होने के चांस बढ़ जाते हैं। किसी गाड़ी के ओवरटेक करने पर यह और भी गंभीर हो सकता है।
वहीं, बहुत बार ड्राइवर इसे बंद कर देते हैं। इससे एक तरह का ब्लाइंट स्पॉट बन जाता है और ड्राइवर को कोई भी ऑब्जेक्ट दिखाई नहीं देता है। इसकी वजह से कई बार एक्सीडेंट हो जाते हैं। भारत में होने वाले ज्यादातर एक्सीडेंटों में एक वजह यह भी है।
साइड मिरर सेट करने का सही तरीका
साइड मिरर को सेट करने के लिए बैक मिरर की जरूरत भी पड़ती है। सबसे पहले बैक मिरर को इस तरह से सेट करें कि कार के पीछे से आने वाली गाड़ी इसके बीच में दिखाई दें। इसके बाद दोनों साइड मिरर को इस तरह रखें कि पीछे की चीजें मिरर के बीच में बिल्कुल साफ दिखाई दे रही हो। साथ ही एंगल को इस तरह से सेट करें कि जब कोई गाड़ी पीछे से ओवरटेक कर रही हो तो जब वह बैक मिरर में दिखना बंद हो जाए तो साइड मिरर में तुरंत दिखाई दे। यह इन मिरर को सेट करने का सबसे सही तरीका है और इससे बहुत-सी होने वाली घटनाओं को रोका जा सकता है।