तीन दिन की यात्रा पर मेक्सिको गए विदेश मंत्री जयशंकर, व्यापार व निवेश के साथ द्विपक्षीय सहयोग को बढ़ावा देना उद्देश्य
विदेश मंत्री एस जयशंकर रविवार को तीन दिवसीय यात्रा पर मेक्सिको पहुंचे। उनकी इस यात्रा का उद्देश्य व्यापार और निवेश के साथ-साथ अन्य क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग को बढ़ावा देना है। विदेश मंत्री के तौर पर जयशंकर की यह पहली मेक्सिको यात्रा है। फिलहाल, मेक्सिको लैटिन अमेरिका में भारत का दूसरा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है। वह 2021-22 के लिए भारत के साथ संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) का अस्थायी सदस्य भी है।
मेक्सिको की यात्रा पर जाने से पहले जयशंकर ने न्यूयार्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा से इतर कई देशों के विदेश मंत्रियों के साथ द्विपक्षीय वार्ता की। उन्होंने इथियोपिया के उप प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री मेकोनेन हसन के अलावा वेनेजुएला और निकारागुआ के विदेश मंत्रियों से भी चर्चा की।
जयशंकर की यात्रा का एलान करते हुए विदेश मंत्रालय ने कहा कि वह अन्य विश्व नेताओं के साथ मेक्सिको की आजादी की 200वीं वर्षगांठ के विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लेंगे। मंत्रालय ने कहा कि जयशंकर विदेश मंत्री मार्सेलो एब्रार्ड कासाबोन के साथ बैठक के अलावा मेक्सिको के राष्ट्रपति एंड्रेस मैनुअल लोपेज ओब्रेडोर से भी मुलाकात करेंगे। विदेश मंत्री मेक्सिको में प्रमुख सीईओ और व्यापारिक समुदाय के साथ भी बातचीत करेंगे।
भारत मेक्सिको को मुख्य रूप से वाहन के पुर्जे, रसायन, एल्यूमीनियम उत्पाद, विद्युत मशीनरी और इलेक्ट्रानिक उपकरण, स्टील आदि का निर्यात करता है। भारत मेक्सिको से कच्चा तेल, इलेक्टि्रक सामान और मशीनरी का आयात करता है।
नेपाल और सीरिया के विदेश मंत्री से मिले जयशंकर
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने न्यूयार्क में अपने नेपाली समकक्ष डा नारायण खडका से मुलाकात की और विशेष संबंधों को आगे बढ़ाने के लिए सहमति जताई। इसके अलावा जयशंकर ने सीरियाई विदेश मंत्री फैसल मेकदाद से भी मुलाकात की और संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के घटनाक्रम पर विचारों का आदान-प्रदान किया। सीरियाई लोगों को सहायता पर ध्यान केंद्रित करते हुए जयशंकर ने कहा कि भारत दमिश्क को मानवीय सहायता प्रदान करना जारी रखेगा।