24 November, 2024 (Sunday)

काम में सरलता के लिए कृषि मंत्रालय ने लांच किए पोर्टल

कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने अपने मंत्रालय से सम्बद्ध कामकाज को और सरल तथा सुविधाजनक बनाने के लिए सोमवार को दो पोर्टल लांच किए।

पहला पोर्टल क्राॅप (कीटनाशकों का व्यापक पंजीकरण) के नाम से है, जो फसल सुरक्षा सामग्री के पंजीकरण संबंधित प्रक्रिया को गति और पारदर्शिता प्रदान करता है।

दूसरा पोर्टल पीक्यूएमएसू (वनस्पति संगरोध प्रबंधन प्रणाली) है जो कृषि उत्‍पादों के निर्यात तथा आयात संबंधी दस्‍तावेजों को जारी करने में मुख्‍य भूमिका निभाता है।

श्री तोमर ने कहा कि कृषि क्षेत्र के समग्र विकास तथा इस सेक्टर की मजबूती के लिए सरकार प्रतिबद्ध है और रहेगी। नए पोर्टल में निर्यातकों द्वारा आवेदन से लेकर स्‍वच्‍छता प्रमाण-पत्र जारी करने तक की प्रक्रियाओं को बिना मानवीय हस्‍तक्षेप के पूरा किया जा सकेगा, जो समयबद्धता, पारदर्शिता, सुगम कारोबार की सरल नीति की सरकारी कार्यनीति के अनुरूप है। इस पोर्टल से फल-सब्‍जियां, अनाज आदि के उत्‍पादकों और संबंधित उद्योगों को अपने उत्‍पाद निर्यात करने में अंतरराष्ट्रीय स्‍तर की सुविधा प्राप्‍त होगी। इसके अलावा आयातित पौध सामग्री का पारदर्शिता और सुगमता से, समयबद्ध तरीके से निर्गत प्रमाण-पत्र जारी किया जा सकता है।

इसी प्रकार कीटनाशी अधिनियम से संबंधित पोर्टल में पुराने क्रॉप परिचालन की समस्‍याओं को देखते हुए संशोधन किए गए हैं। नए क्रॉप परिचालन द्वारा फसल सुरक्षा सामग्री के सुगम पंजीकरण के लिए प्रमाण-पत्र जारी करने, आवेदन से लेकर उन्‍हें जारी करने तक पारदर्शिता, सुगमता और समयबद्धता के साथ विशेषज्ञों द्वारा ऑनलाइन जांच के बाद शीघ्र जारी किए जाएंगे। इस नई प्रणाली के माध्‍यम से आवेदकों को ई-भुगतान करना, दस्‍तावेज उपलब्‍ध कराना तथा नवीनीकरण करना, बिना मानवीय हस्‍तक्षेप के संभव हो सकेगा तथा विभिन्‍न स्‍तरों पर किए जाने वाले इन कार्यों की सूचना आवेदक को समय-समय पर स्‍वत: प्राप्‍त होगी । इससे हमारे किसानों को फसल सुरक्षा सामग्री की उपलब्‍धता सुनिश्‍चित होगी।

उन्होंने कहा कि कुछ राज्यों में टिड्डी दलों के हमले के समय निर्देशों के अनुरूप कृषि मंत्रालय ने संबंधित मंत्रालयों से अनुमतियां लेकर टिड्डियों पर नियंत्रण पाया था, तब ड्रोन का भी उपयोग किया गया था, उस समय विस्तृत ड्रोन पालिसी बनाने को कहा गया, जिसके बाद कृषि मंत्रालय ने इसकी गाइड लाइन बनाकर भी जारी कर दी है और अब खेती में ड्रोन के व्यापक उपयोग के प्रयत्न हो रहे हैं, ताकि किसानों को सुविधा-सरलता हो।

श्री तोमर ने कहा,“ खाद्यान्न की दृष्टि से हमारा देश आत्मनिर्भर ही नहीं बल्कि अतिशेष है, जिसमें हमारे किसान भाइयों-बहनों का अथक परिश्रम, वैज्ञानिकों की कुशलता तथा केंद्र सरकार की किसान हितैषी नीतियों का योगदान है। कोविड के संकटकाल के दौरान भी कृषि क्षेत्र में पूरी तरह से कामकाज सुचारू चलता रहा, सरकार ने भी किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर उपज खरीदने में कोई कमी नहीं आने दी। हमारा कृषि क्षेत्र अपना सीना ताने खड़ा रहा। इस क्षेत्र को हम अपनी नीतियों, अनुसंधान, गुणवत्ता, प्रोत्साहन, पारदर्शिता, ईज आफ डूइंग बिजनेस से जितना मजबूत करेंगे, उतना ही हमारा देश ताकतवर होगा।”
राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि सभी सुविधाओं को सरल और सहज बनाया जा रहा है। नई तकनीक को अपनाने पर बल दे रहे है, जिससे कृषि क्षेत्र का समग्र विकास संभव होगा। आज जो दोनों पोर्टल लांच किए गए है, इससे किसानों एवं संबंधित उद्यमियों को लाभ मिलेगा।

कृषि सचिव मनोज अहूजा ने कहा कि सरकार की नीति पारदर्शिता की है, जिसके अनुरूप ही विभाग अपना काम संपादित कर रहा है।

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